उत्तराखंड सीएम धामी का एलान, गरीब मुस्लिम वर्ग के कल्याण में होगा वक्फ संपत्तियों का उपयोग
1 min read
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि भाजपा “गरीबों का हक सिर्फ गरीबों को मिलेगा” संदेश के साथ वक्फ जनजागरण अभियान चलाने जा रही है।
प्रदेश मुख्यालय मे आयोजित वक्फ संशोधन जनजागरण अभियान की प्रदेश कार्यशाला मे मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि वक्फ संशोधन से सरकार सुनिश्चित कराएगी कि वक्फ का उपयोग गरीब, पसमांदा भाइयों और मुस्लिम बहनों के कल्याण में हो। बिना धार्मिक छेड़छाड़ किए, प्रदेश में भी बोर्ड की एक एक इंच भूमि की जांच और देखभाल की जाएगी। वहीं इस मौके पर राष्ट्रीय महामंत्री, प्रदेश प्रभारी और वक्फ संशोधन की केंद्रीय कमेटी के सदस्य दुष्यंत गौतम ने कहा, वक्फ की जो भी जमीनें अवैध कब्जों से मुक्त होंगी, उन पर गरीब और मुस्लिम महिलाओं के लिए पीएम आवास बनाए जाएंगे।
अभियान को लेकर दी गई विस्तृत जानकारी
20 अप्रैल से 5 मई तक चलने वाले इस अभियान को लेकर विस्तृत जानकारी दी गई। प्रदेश महामंत्री आदित्य कोठारी के संचालन में हुई कार्यशाला में बताया गया कि हमें इस ऐतिहासिक कानून के सभी पहलुओं को विभिन्न कार्यक्रमों के माध्यम से समाज में नीचे तक ले जाना है। ताकि मुस्लिम समाज को भी इस सुधार से उनके जीवन में होने वाले क्रांतिकारी बदलाव की जानकारी हो। दो सत्रों में हुई इस कार्यशाला में मुख्यमंत्री धामी ने उद्घाटन सत्र में इस कानून में सरकारों की भूमिका और दूसरे सत्र में प्रदेश प्रभारी गौतम ने इसके सभी कानूनी, सामाजिक और राजनैतिक बिंदुओं पर चर्चा की। इस दौरान सीएम धामी ने कहा कि पीएम मोदी के नेतृत्व में देश ऐतिहासिक और युग परिवर्तनकारी निर्णय ले रहा है, जिसकी एक बानगी वक्फ संशोधन कानून है। जो सर्वधर्म, सद्भाव, समरसता, समानता, न्याय की भावना और सबका साथ, सबका विकास और सबके प्रयास के सिद्धांत पर आधारित है। इससे पहले पीएम मोदी कश्मीर से धारा 370 हटाने, सीएए लागू करने और राम मंदिर निर्माण, तीन तलाक जैसे उन तमाम कार्यों को धरातल पर उतार चुके हैं, जिसकी कल्पना भी नहीं की जा सकती थी।
इसी क्रम में यह संशोधन देशहित और समजाहित में है और गरीबों के अधिकार सुनिश्चित करने और काली कमाई को सफेद करने वाली मंशा पर रोक लगाने वाला है। उन्होंने विश्वास दिलाया कि किसी की भी धार्मिक स्वतंत्रता पर आंच नहीं आएगी और एक-एक इंच जमीन को जांच और देखभाल की जाएगी। उन्होंने स्पष्ट किया कि इस कानून का सर्वाधिक लाभ मुस्लिम समाज में गरीबों, तलाकशुदा और विधवा महिलाओं, अनाथ बच्चों और जरूरतमंद लोगों को मिलने वाला है।